श्री राधा कृष्ण की प्रेम भरी भक्ति शायरी

जब भी दो प्रेमी जोड़ो का नाम आता है उसमे राधा कृष्णा जी का नाम सबसे ऊपर आता है जिसमे की कृष्णा जी भगवान् विष्णु के अवतार व राधा जी माता लक्ष्मी का अवतार थी|

रंग बदलती दूनियाँ देखी देखा जग व्यवहार,
दिल टूटा तब मन को भाया ठाकुर तेरा दरबार राधे राधे

राधा मुरली-तान सुनावें
छीनि लियो मुरली कान्हा से
कान्हा मंद-मंद मुस्कावें
राधा ने धुन,प्रेम की छेड़ी
कृष्ण को तान पे,नाच नचावें
****जय श्री राधे कृष्णा****

राधे राधे बोल, श्याम भागे चले आएंगे,
एक बार आ गए तो कबू नहीं जायेंगे.

राधा की कृपा, कृष्णा की कृपा,
जय पे हो जाए,
भगवान को पाए,
मौज उड़ाए…. सब सुख पाए….!!
जय श्री राधे**

हे मन, तू अब कोई तप कर ले,
एक पल में सौ-सौ बार कृष्ण नाम का जप कर ले.
जय श्री राधे-कृष्णा…!!

किसी के पास ego है किसी के पास attitude है
मेरे पास तो मेरा साँवरा है वो भी बड़ा cute हैं
**Shri Krishna**
**Shri Krishna **

सुनो कन्या जहाँ से तेरा मन करे
मेरी ज़िन्दगी को पड़ लो पन्ना चाहे
कोईं भी खोलो हर पन्ने पर
तेरा नाम होगा मेरे कान्हा

पीर लिखो तो मीरा जैसी,
मिलन लिखो कुछ राधा सा,
दोनों ही है कुछ पूरे से,
दोनों में ही वो कुछ आधा सा.
जय श्री कृष्णा

राधा-राधा जपने से हो जाएगा तेरा उद्धार,
क्योंकि यही वही वो नाम है जिससे कृष्ण को प्यार.

एक तरफ साँवले कृष्ण, दूसरी तरफ राधिका गोरी
जैसे एक-दूसरे से मिल गए हों चाँद-चकोरी.

कर भरोसा राधे नाम का
धोखा कभी न खायेगा….
हर मौके पर कृष्ण
तेरे घर सबसे पहले आयेगा
जय श्री राधेकृष्ण…!!

माना कि मुझमे मीरा सी..कोई कशिश नही,
गोपी के जैसे रो सकू..वो जज्बात नही,
एकबार मेरे साँवरे इस..दिल की भी सुनो,
मेरे राधा कृष्णा मुरारी.

हर पल, हर दिन कहता है कान्हा का मन
तू कर ले पल-पल राधा का सुमिरन.

प्रभु खोजने से नहीं मिलते…
उसमें “खो – जाने” से मिलते है…!
राधेकृष्णा जय श्री कृष्णा

राधा कृष्ण का मिलन तो बस एक
बहाना था…
दुनिया को प्यार का सही मतलब
जो समझाना था….

तुम्हारी “चाहत” की,
“हद” हो सकती है मगर,
“दिल” की बात बताता हूॅ,
मै “बेहद” तुम्हे चाहता हूॅ.
राधे कृष्णा हरे कृष्णा….

नन्दलाल की मोहनी सूरत दिल में बसा रखे हैं,
अपने जीवन को उन्ही की भक्ति लगा रखे हैं,
एक बार बाँसुरी की मधुर तान सुनादे कान्हा,
एक छोटी से आस लगा रखे हैं.

बड़ा मीठा नशा है कृष्ण की याद का..
वक्त गुजरात गया और हम आदि होते गए.
जय राधे कृष्णा….!!

अभी तो बस इश्क़ हुआ है
कान्हा से
मंजिल तो वृंदावन में ही मिलेगी…!!
राधे राधे..

कृष्ण की प्रेम बाँसुरिया सुन भई वो प्रेम दिवानी,
जब-जब कान्हा मुरली बजाएँ दौड़ी आये राधा रानी.

“राधा” के सच्चे प्रेम का यह ईनाम हैं,
कान्हा से पहले लोग लेते “राधा” का नाम हैं.

जानते हो कृष्ण,
क्युं तुम पर हमें गुरुर हैं?
क्युंकि तुम्हारे होने से हमारी ज़िन्दगी मे नूर है.
जिया श्री राधे कृष्ण…!!

जिस पर राधा को मान हैं,
जिस पर राधा को गुमान हैं,
यह वही कृष्ण हैं जो राधा
के दिल हर जगह विराजमान हैं.

मेरे कर्म ही मेरी पहचान बनें तो बेहतर है,
चेहरे का क्या है यह तो मेरे साथ ही चला जाएगा…।
जय राधे कृष्णा…

कोई प्यार करे तो राधा-कृष्ण की तरह करे
जो एक बार मिले, तो फिर कभी बिछड़े हीं नहीं.
मेरे राधा कृष्णा….!!!

कर्तव्य पथ पर जाते-जाते केशव गये थे रूक,
देख दशा राधा रानी, ब्रम्हा भी गये थे झुक.

मेरा आपकी कृपा से सब काम हो रहा है,
करते हो तुम कन्हैया मेरा नाम हो रहा है.
जय श्री कृष्णा राधे राधे…

जो जो है माखन चोर, जो है मुरली वाला,
वही है हम सबके दुःख दूर करने वाला.

राधा की हृदय में श्री कृष्ण,
राधा की साँसों में श्री कृष्ण,
राधा में ही हैं श्री कृष्ण,
इसीलिए दुनिया कहती हैं
राधे-कृष्ण राधे-कृष्ण

प्रेम की भाषा बड़ी आसान होती हैं.
राधा-कृष्ण की प्रेम कहानी ये पैगाम देती हैं.

यदि प्रेम का मतलब सिर्फ पा लेना होता,
तो हर हृदय में राधा-कृष्ण का नाम नही होता.

पता नहीं कैसे परखता है,
मेरा कृष्ण मुझे,
इम्तिहां भी मुश्किल ही लेता है,
और फेल भी होने नहीं देता.

प्यार दो आत्माओं का मिलन होता है
ठीक वैसे हीं जैसे……….
प्यार में कृष्ण का नाम राधा और राधा का नाम कृष्ण होता है.

किसी की सूरत बदल गई किसी की नियत बदल गई…..!!
जब से तूने पकड़ा मेरा हाथ ,
“राधे” मेरी तो किस्मत ही बदल गई …..!!

मटकी तोड़े, माखन खाए फिर भी सबके मन को भाये,
राधा के वो प्यारे मोहन,महिमा उनकी दुनिया गाये…!!

प्रेम के दो मीठे बोल बोलकर खरीद लो हमें,
कीमत से सोचोगे तो पूरी दुनिया बेचनी पडेगी.

सुध-बुध खो रही राधा रानी,
इंतजार अब सहा न जाएँ,
कोई कह दो सावरे से,
वो जल्दी राधा के पास आएँ.

राधा के दिल की चाहत है कृष्णा,
राधा की विरासत है कृष्णा,
कितने भी रास रचा ले कृष्णा,
फिर भी दुनिया कहेगी – राधे_कृष्णा

मधुवन में भले ही कान्हा किसी गोपी से मिले,
मन में तो राधा के ही प्रेम के है फूल खिले.

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